''जोश-जोश में प्रभाव दिखलाओगे तो फिर,
थोड़ा-थोड़ा साथ ही ये दर्द लेना पड़ेगा ।
यदि माला डाली फाँस लेगा कर का विभाग,
दलों को फँसा हुआ जहाज खेना पड़ेगा ॥
सोच-समझ के नोट माला में पिरोना क्योंकि,
लोहे का चबाना चना औ चबेना पड़ेगा ।
नोटों वाली माला आई चंदे की श्रेणी में अब,
भरेंगे रिटर्न तो ब्यौरा भी देना पड़ेगा ॥''
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